Stress: स्ट्रेस हमेशा बुरा नहीं होता, कई बार आपके लिए फाइट, फ्लाइट और फ्रिज का काम करता है

Shyam Dangi

आमतौर पर एक कहावत कही जाती है कि ‘चिंता ही चिता’ का कारण है। आज की भागदौड़ भरी ज़िन्दगी में हर कोई स्ट्रेस या तनावग्रस्त महसूस करते हैं, यहाँ तक कि बच्चे भी। लेकिन आपको बता दें कि तनाव हमेशा बुरा नहीं होता है। कई शोधों से यह बात सामने आ चुकी है। तो आइये जानते हैं तनाव कैसे आपके लिए मददगार हो सकता है।

सुरक्षित रहने में मददगार
आपका मष्तिष्क को जब किसी किसी संभावित खतरे का पता लगता है, तो वह तुरंत आपके शरीर और दिमाग को सचेत कर देता है। इसे आमतौर पर स्ट्रेस बोला जाता है। जैसे अगर आप सड़क पार कर रहे हैं। तभी आपको अचानक एक कार तेजी से आती हुई दिखाई दी। तब आपकी बॉडी में स्ट्रेस हार्मोन एक्टिव हो जाते हैं। यह आपको तुरंत रिएक्ट करने के लिए प्रेरित करता है। यह अतिरिक्त एनर्जी, फोकस, शक्ति और गति प्रदान करता है। इस स्ट्रेस हार्मोन की चेतावनी के कारण ही आप उस कार से बचते हैं। गौरतलब है कि स्ट्रेस अलर्ट को ‘फाइट-फ़्लाईट-ऑर-फ़्रीज़’ भी कहा जाता है। क्योंकि यह आपको अधिक संघर्ष करने, तेज़ दौड़ने या ज़रूरत पड़ने पर अपनी जगह पर स्थिर रहने के
लिए तैयार रखता है।

किसी बड़े पल का सामना करने में सहायक
आप सभी जानते हैं कि किसी ख़ास मोमेंट पर हम नर्वस हो जाते हैं। जैसे मान लीजिए कि आप किसी स्पोर्ट्स कॉम्पिटिशन में पार्टिसिपेंट करने जा रहे हैं, या टीम में स्थान पाने के लिए कोशिश कर रहे हैं, कोई सोलो परफॉर्म करने जा रहे हो। तब आप अचानक खुद को तनावपूर्ण महसूस कर सकते हैं। दरअसल, ऐसे मोमेंट में स्ट्रेस हार्मोन आपके दिल कि धड़कन को तेज कर सकता है। इससे आपके हाथ या पैर कांप सकते हैं। अगर ऐसे समय में आप तनाव बहुत अधिक महसूस कर रहे हो तो धीमी, गहरी सांस लें। लगातार ऐसी प्रैक्टिस से आप ऐसे मौको में खुद को संभालने में अच्छे हो सकते हैं और अधिक आत्मविश्वास महसूस करेंगे।

आपको प्रेरित करता है
जैसे कुछ दिनों बाद आपका कोई टेस्ट, टेस्ट या बड़ा इवेंट होने वाला है। जिसे लेकर आप तनावग्रस्त महसूस कर सकते हैं। ऐसे समय में आपको अपनी स्टडी, प्रिपरेशन या प्रैक्टिस को याद करना चाहिए। ऐसे में एक पल ऐसा आएगा जब आप कम तनाव महसूस करेंगे। अगर आप किसी टेस्ट या ट्रायआउट के बारे में बहुत अधिक तनाव या चिंता महसूस करते हैं तो अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करना कठिन हो जाता है। ऐसे समय में तनाव को कम करने के लिए अपने माता-पिता, शिक्षक या किसी दोस्त की मदद लें।

ऐसे नाजुक क्षणों से कैसे निकलें?
कई बार तनाव ऐसी समस्या बन जाती है जिसका सामना करना कठिन हो जाता है। जैसे कुछ लोग बदमाशी या किसी गंभीर बीमारी या चोट की वजह से अत्यधिक स्ट्रेस का सामना करते हैं। कुछ के माता-पिता अलग हो जाते हैं या जिनके बीच बहुत अधिक झगड़े होते हैं। कुछ के लिए, किसी खास की मृत्यु हो गई है। या कुछ लोग आघात, दुर्व्यवहार या अन्याय से गुज़रते हैं। इस तरह के तनाव से राहत पाने के लिए आपको सहारे की बेहद जरूरत होती है। ऐसे समय में किसी ऐसे बड़े व्यक्ति से बात करें जिस पर आप भरोसा करते हैं।

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  • Shyam Dangi

    Shyam Dangi is a content writer and editor for over 12 years. He specialises in writing on a variety of topics such as wellness, lifestyle, beauty, technology and fashion. His current focus is on creating factually correct and informative stories for readers.

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